सर्वोच्च न्यायालय और राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देशानुसार वर्ष 2019 में आयोजित की जाने वाली नेशनल लोक अदालतों की तारीखें घोषित कर दी गई हैं। सदस्य सचिव राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण श्री विजय चन्द्र ने बताया कि 9 मार्च, 13 जुलाई, 14 सितम्बर और 14 दिसम्बर को नेशनल लोक अदालत का आयोजन होगा।
नेशनल लोक अदालतों के लिये चिन्हित किये गये लम्बित और प्रिलिटिगेशन के प्रकरणों में न्यायालयों में लम्बित प्रकरणों में आपराधिक शमनीय प्रकरण, पराक्राम्य अधिनियम की धारा-138 के अंतर्गत प्रकरण, मनी रिकवरी सबंधी मामले, एमएसीटी प्रकरण (मोटर दुर्घटना क्षतिपूर्ति दावा प्रकरण), श्रम विवाद प्रकरण, विद्युत एवं जल कर/बिल संबधी (सिर्फ शमनीय प्रकरण), वैवाहिक प्रकरण, भूमि अधिग्रहण के प्रकरण, सेवा मामले जो सेवानिवृत्त संबंधी लाभों से संबंधित, राजस्व प्रकरण (सिर्फ जिला/उच्च न्यायालयों में लम्बित) दीवानी इत्यादि मामले महत्वपूर्ण हैं। इनके अतिरिक्त, प्रीलिटिगेशन (मुकदमा पूर्व) के अंतर्गत पराक्राम्य अधिनियम की धारा-138 के अंतर्गत प्रकरण, मनी रिकवरी संबंधी मामले, श्रम विवाद संबंधी मामले, विद्युत एवं जल कर/बिल संबंधी (सिर्फ शमनीय प्रकरण), दूरसंचार के बकाया लैण्डलाइन/मोबाइल बिल संबंधी प्रकरण, आपराधिक शमनीय प्रकरण, वैवाहिक प्रकरण, दीवानी इत्यादि मामले भी सुने जायेंगे
सदस्य सचिव ने बताया कि आमजनता/पक्षकारगण, जो न्यायालय में लम्बित एवं मुकदमेबाजी के पूर्व (प्रिलिटिगेशन प्रकरण) नेशनल लोक अदालत के लिये चिन्हित किये गये प्रकरणों/विवादों का उचित समाधान कर, आपसी सहमति से लोक अदालत में निराकरण कराना चाहते हैं, वे संबंधित न्यायालय अथवा जिला विधिक सेवा प्राधिकरण/उच्च न्यायालय विधिक सेवा समिति से सम्पर्क कर अपना मामला आयोजित होने वाली नेशनल लोक अदालतों में रखे जाने के लिये अपनी सहमति और आवश्यक कार्यवाही पूर्ण करायें। सदस्य सचिव ने पक्षकारों से नेशनल लोक अदालतों में अधिक से अधिक संख्या में भाग लेने का आग्रह किया है।